- जय महाकाल -
- दारिद्र्य नाशनं गणपति स्तोत्र नवनाथ प्रथम ज्ञान सिद्धि -
- नवनाथ प्रथम ज्ञान सिद्धि -
मंत्र विशेष नवनाथ घ्यान साधना और प्राप्ति
मेरे साधक मित्रो यह मैं आपको खास नाथ पंथ के साधक भक्तोके लिए ये ज्ञात करवाना चाहता हूँ की मंत्र और तंत्रों के महान बादशाह और कोई नहीं सिवा महान योगी गुरु नवनाथ सिद्ध ही थे ..इसमें कोई दो राय नहीं है
हमने कई वर्षो महीने और दिन ऐसे अलग अलग पन्थो के महान विद्वान् और तंत्र के उद्भभट्ट विद्वानों संग रहने के बाद में हमारा जो भी ज्ञान का भंडार , अर्थात तंत्र मंत्र और विशेष शक्तियो के गुप्त ज्ञान आप के सामने हमारे महान गुरु जनो के कृपा आशीर्वाद से आप के समक्ष रखने का प्रयास किया हैं। ....... , मेरे साधक मित्रो आप को मंत्र और तंत्र सिद्धि के ज्ञान के लिए आप को गुरु सानिध्य लेना ही अनिवार्य हैं अन्यथा आप मंत्रो के सिद्धि के चरमसीमा तक नहीं पहुँच सकते ये सत्य है ....
और किसी भी नाथ भक्त जनो के लिए हमारा मार्गदर्शनउपलब्ध है ..जय बम्म भोले आदेश गुरूजी को ..!
वरदविनायक दारिद्र्य नाशनं गणपति स्तोत्र
ॐनमो विघ्नराजाय सर्वसौख्य प्रदायिने
दुष्टारिष्ट विनाशाय पराय परमात्मने
लम्बोदरं महावीर्यं नागयज्ञोपशोभितम
अर्धचंद्रधरम देवं विघ्नव्यूहविनाशनम
ॐ र्हां र्र्हिं र्हुं र्हे र्र्है र्हे हेरम्बाय नमो नमः
सर्वसिद्धिप्रदो s सि त्वं सिद्धिबुद्धिप्रदो भव
चिन्तितार्थ प्रदस्त्यम हि सततं मोदकप्रिय :
सिन्दुरारुण वस्त्रैच्य पूजितो वरदायक :इदं गणपतितोत्रं य: पठेदभक्तिमान नर :
तस्य देहं च गेहं च स्वयं लक्ष्मिर्न मुन्चती:
ॐनमो विघ्नराजाय सर्वसौख्य प्रदायिने
दुष्टारिष्ट विनाशाय पराय परमात्मने
लम्बोदरं महावीर्यं नागयज्ञोपशोभितम
अर्धचंद्रधरम देवं विघ्नव्यूहविनाशनम
ॐ र्हां र्र्हिं र्हुं र्हे र्र्है र्हे हेरम्बाय नमो नमः
सर्वसिद्धिप्रदो s सि त्वं सिद्धिबुद्धिप्रदो भव
चिन्तितार्थ प्रदस्त्यम हि सततं मोदकप्रिय :
सिन्दुरारुण वस्त्रैच्य पूजितो वरदायक :इदं गणपतितोत्रं य: पठेदभक्तिमान नर :
तस्य देहं च गेहं च स्वयं लक्ष्मिर्न मुन्चती:
विधि -
पोर्णिमेला रात्रि स्नान करूँन धूत वस्र नेसून स्थिर लग्नावर
एक चौरंगावर नवे कोरे लाल वस्र पसरून त्यावर तम्ब्याच्या
ताम्हनात गणपतीची मूर्ति किवं तस्बीर ठेउन तिची षोडशोपचाराणे
पूजा करावी नंतर साजुक तुपाचे निरंजन लाउन उपरोक्त स्तोत्र पठन
करावे मग गणपतीला नमस्कार करून मिष्ठान्नाचा नैवेद्य दाखवावा
रोज दिवा लावताना स्तोत्ररुपी मंत्राचा एक पाठ अवश्य करावा .
अवघ्या सहा महिन्यात आपल्या घरी लक्ष्मीचा वावर सुरु होइल यात
तील मात्र शंका नहीं ..
संपर्क - 09207 283 275
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